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उत्तराखंड

मां नारी देवी की देवरा यात्रा का भक्तों ने किया दर्शन, उमड़ी श्रद्धालुओं की भीड़*

*मां नारी देवी की देवरा यात्रा का भक्तों ने किया दर्शन, उमड़ी श्रद्धालुओं की भीड़*
चमोली ( प्रदीप लखेड़ा )
तल्लानागुर क्षेत्र में सिद्धपीठ नारी देवी की देवरा यात्रा रविवार को जिला मुख्यालय स्थित बेलनी पहुंची, जहां बड़ी संख्या में भक्तों ने मां के दर्शन कर आशीर्वाद लिया। इस मौके पर भक्तों ने फूल और अक्षतों से देवी का जोरदार स्वागत किया।
सोमवार को मां की देवरा यात्रा अपने मायके दरम्वाड़ी पहुंकर भक्तों को दर्शन देंगी। जबकि चोपडा न्याय पंचायत के साथ दशज्यूला क्षेत्र के गांवों का भ्रमण करेगी।
30 सालों बाद बीती 17 नवम्बर से नारी देवी की देवरा यात्रा पूजा अर्चना के बाद शुरू हुई। इससे पहले 14 नवंबर को मां नारी देवी के नए फर्श पर शक्ति चढ़ाई थी। इसके बाद ही चार दिशाओं का बंधन शुरू किया। मां की देवरा यात्रा ने नारी गांव के साथ ही खतेणा स्युंपुरी, सतेरा, सांदर, बेलाखुरढ होते हुए रात्रि प्रवास के लिए जिला मुख्यालय स्थित बेलनी पहुंची थी। इस दौरान मां का विभिन्न स्थानों पर फूल एवं अक्षतों से जोरदार स्वागत किया जा रहा है। रविवार सुबह पुजारी ने मां नारी देवी की विशेष पूजा अर्चना कर तमाम पूजाएं संपन्न की। जिसके बाद ही स्थानीय लोगों ने मां के दर्शन कर मनौतियां मांगी। इस दौरान वाद्य यंत्रों एवं मां के जयकारों से क्षेत्र का पूरा वातावरण भक्तिमय हो उठा।
रविवार को मुख्यालय स्थित बेलनी में घर घर भ्रमण के दौरान मां ने भक्तों को आशीर्वाद दिया जबकि इसके बाद रात्रि विश्राम के लिए नारी गांव पहुंची। सोमवार को मां की देवरा यात्रा अपने मायके दरम्वाड़ी के लिए प्रस्थान करेगी। चोपड़ा न्याय पंचायत के साथ दशज्यूला क्षेत्र के गांवों का भ्रमण करेगी। करीब सात माह तक चलने वाले इस भ्रमण कार्यक्रम में मां नारी चारों दिशाओं के भ्रमण के बाद जून माह में अपने मूल मंदिर में लौटेगी। जहां पर क्षेत्र खुशाहाली एवं समृद्धि के लिए विशाल महायज्ञ का आयोजन किया जाएगा। मंदिर समिति के अध्यक्ष दिक्षराज सिंह रावत ने बताया कि लगभग तीस वर्षों मां की देवरा यात्रा का आयोजन किया जा रहा है। इस कार्यक्रम को सफल बनाने के लिए क्षेत्रीय ग्रामीण अपना पूर्ण सहयोग दे रहे है।
मंदिर समिति के सरंक्षक सतेन्द्र पाल सिंह बर्त्वाल ने कहा कि मां चण्डिका में इतनी शक्ति है कि कष्ट में स्मरण मात्र से ही उसके कष्ट दूर हो जाते है। मंदिर के मुख्य आचार्य पं. रमेश चंद्र सेमवाल ने कहा कि देवी के ब्रह्म ठानकरे में सर्वशक्ति विराजमान होती है। जिसके दर्शन मात्र से ही सभी का उद्धार हो जाता है। इस अवसर पर कोषाध्यक्ष प्रकाश वीर सिंह, पुजारी सुरेन्द्र चन्द्र मलवाल, जयकृत सिंह, गोविन्द सिंह, महिपाल सिंह, गजेन्द्र सिंह, प्रदुमन सिंह, धीरज बत्र्वाल, यशवंत सिंह समेत बड़ी संख्या में भक्तजन यात्रा में चल रहे है।

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